दुर्ग. न्यूजअप इंडिया
छत्तीसगढ़ के दुर्ग में धर्मांतरण का आरोप लगाते हुए बजरंग दल के कार्यकर्ताओं ने जमकर हंगामा कर दिया। ईसाई समुदाय और बजरंग दल के कार्यकर्ताओं के बीच मारपीट की स्थिति निर्मित हो गई। बजरंगियों पर ईसाई समुदाय के लोगों ने पत्थर से हमला भी कर दिया। बजरंग दल कार्यकर्ता चर्च में घुस गए, जिससे दोनों पक्षों में विवाद की स्थिति निर्मित हो गई। सूचना पर पुलिस के अफसर और कई थानों की पुलिस पहुंची। पुलिस ने बजरंग दल के कार्यकर्ताओं को समझाया और जांच कर कार्रवाई का आश्वासन दिया। इसके बाद माहौल शांत हुआ।
बजरंग दल के कार्यकर्ताओं का आरोप है कि रायपुर नाका स्थित चर्च में धर्मांतरण कराया जा रहा था। सुबह करीब 10-11 बजे प्रार्थना हो रही थी। चर्च में दूसरे धर्म के लोगों के धर्मांतरण के लिए उनका ब्रेनवॉश किया जा रहा है और लालच भी दे रहे हैं। बजरंग दल के कार्यकर्ताओं ने चर्च के बाहर जय श्रीराम के नारे लगाना शुरू कर दिया। यह देख ईसाई समुदाय के लोग आक्रोशित हो गए। उन्होंने उनके ऊपर पत्थर फेंकना शुरू कर दिया। चर्च के बाहर मौजूद बजरंग दल के कार्यकर्ता उग्र हो गए। कई कार्यकर्ता चर्च में घुस गए। इस दौरान दोनों पक्ष के बीच विवाद और झूमा-झटकी होने लगी। किसी ने इसकी सूचना पुलिस को दी, जिसके बाद 6-7 थानों की फोर्स और भारी संख्या में जवान मौके पर पहुंचे। पुलिस ने दोनों पक्षों को समझाया।
प्रलोभन देकर धर्मांतरण करा रहे:तिवारी
बजरंग दल और विश्व हिंदू परिषद के जिला सह प्रभारी रामलोचन तिवारी ने बताया कि यहां साजिश के तहत धर्मांतरण कराने का कार्य किया जा रहा था। ईसाई समाज के लोग भोले-भाले हिंदुओं को दाल, चावल, दवा और अन्य व्यवस्था करने का प्रलोभन देकर ऐसा करते हैं। प्रशासन इन पर कोई कार्रवाई नहीं कर रहा है। इसे तत्काल बंद किया जाना चाहिए।
अपुष्ट या भ्रामक तथ्यों के शेयर से बचें: SP
दुर्ग SP जितेन्द्र शुक्ला ने बताया कि रविवार को रायपुर नाका के उड़िया मोहल्ला में मसीह समाज के लोग और बजरंग दल के कार्यकर्ता के बीच धर्मांतरण की बात को लेकर आपस में विवाद होने की सूचना पर तत्काल पुलिस पहुंची। किसी भी प्रकार की अप्रिय स्थिति निर्मित होने से पहले ही पुलिस ने कार्यवाही करते हुए दोनों पक्षों को समझा। एसपी ने कहा कि इस संबंध में पुलिस द्वारा जांच की जा रही है। कोई दोषी मिलता है तो उसके बाद कार्यवाही की जाएगी। एसपी ने लोगों से अपील की है कि कोई भी समस्या या शिकायत की सूचना सीधे पुलिस को दें। संवेदनशील मुद्दे पर किसी भी प्रकार के अपुष्ट या भ्रामक तथ्यों के शेयर से बचें और पुलिस का सहयोग करे।