- शराब घोटाला केस से जुड़े तार, संतोषजनक जवाब नहीं मिलने पर कुर्क हो सकती है कांग्रेस की बिल्डिंग
- पूर्व आबकारी मंत्री कवासी लखमा को हर महीने मिलने वाले प्रोटेक्शन मनी से बना है कांग्रेस भवन- ईडी
रायपुर. न्यूजअप इंडिया
छत्तीसगढ़ में प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) की टीम राजधानी रायपुर के कांग्रेस मुख्यालय राजीव भवन में दबिश दी। ईडी के चार अफसरों ने कांग्रेस प्रभारी महामंत्री (संगठन) मलकीत सिंह गैदू से बातचीत कर उन्हें समन सौंपा है। यह समन नक्सल प्रभावित सुकमा जिले के कोंटा में राजीव भवन निर्माण को लेकर दिया गया है। कांग्रेस महामंत्री ने 27 फरवरी तक जानकारी उपलब्ध कराने की बात ईडी अफसरों से कही है। ईडी के कांग्रेस दफ्तर पहुंचने पर हड़कंप मच गया है।
सूत्रों के मुताबिक शराब घोटाले मामले में संतोषजनक जवाब नहीं मिलने पर सुकमा स्थित राजीव भवन और हरीश कवासी का मकान कुर्क हो सकता है। ईडी ने इस मामले में कांग्रेस के प्रदेश अध्यक्ष (PCC) के नाम समन जारी कर सुकमा राजीव भवन के संबंध में जानकारी मांगी है। बता दें कि 2161 करोड़ रुपये के कथित आबकारी घोटाले में पूर्व आबकारी मंत्री कवासी लखमा से पूछताछ के दौरान इस बात की जानकारी बाहर आयी थी कि शराब घोटाले के पैसे का इस्तेमाल कोंटा के कांग्रेस कार्यालय में किया गया है। कवासी लखमा को प्रोटेक्शन मनी के तौर पर हर महीने दो करोड़ मिलते थे। 36 महीने तक यह खेल चला और इस पैसे का उपयोग कांग्रेस पार्टी की बिल्डिंग बनाने में किया गया है।
ईडी ने चार बिंदुओं पर मांगी जानकारी
सूत्रों के मुताबिक ईडी के अफसरों ने कांग्रेस के प्रभारी महासचिव मलकीत गैदू से चार बिंदुओं पर जानकारी मांगी है। सुकमा जिले के कांग्रेस कार्यालय के निर्माण में लगे पैसों कहां से आए, पीसीसी से पैसा जारी किया गया है क्या, कब और कैसे दिया गया। बता दें कि 28 दिसंबर को ED ने पूर्व आबकारी मंत्री कवासी लखमा के रायपुर के धरमपुरा स्थित बंगले रेड मारी थी। इस दौरान पूर्व मंत्री की कार को घर से बाहर निकालकर तलाशी ली गई थी। कवासी के करीबी सुशील ओझा के घर और सुकमा में लखमा के बेटे हरीश लखमा और राजू साहू के घर पर भी दबिश दी गई थी।
लखमा ने कहा था- मैं अनपढ़ हूं, मुझे फंसाया
ईडी की छापे के बाद कवासी लखमा ने कहा था कि घोटाला हुआ है या फिर नहीं, मुझे इसकी जानकारी नहीं है। मैं अनपढ़ आदमी हूं, अधिकारी मुझे जहां साइन करने को कहते थे, मैं कर देता था। गरीब आदिवासी व्यक्ति को फंसाया गया है। ईडी ने 15 जनवरी को कवासी लखमा को गिरफ्तार किया था, लेकिन उससे पहले दो बार 8-8 घंटे तक पूछताछ की गई थी। लखमा के साथ उनके बेटे हरीश लखमा से भी ED के अधिकारियों ने पूछताछ की थी।
कानून के सामने कोई बड़ा व्यक्ति नहींः डिप्टी सीएम
इधर डिप्टी विजय सीएम शर्मा ने कहा कि ईडी का छापा वहां पड़ा है, जहां भ्रष्टाचार का पैसा लगा है। कोई व्यक्ति बड़ा है तो उसके सामने कानून छोटा नहीं होता। जितना नोट छापा है, उसके विरुद्ध ये छापा है। शराब घोटाला को छत्तीसगढ़ के बच्चे- बच्चे जानते हैं। ईडी अपनी कार्रवाई कर रही है। जो भ्रष्टाचार में संलिप्त हैं, सबको जेल जाना चाहिए।
जन सहयोग से कांग्रेस कार्यालय बनायाः सुशील
प्रदेश कांग्रेस कार्यालय में ईडी के पहुंचने पर कांग्रेस संचार विभाग प्रमुख सुशील आनंद शुक्ला ने कहा कि भारतीय जनता पार्टी के केंद्र और राज्य सरकार के इशारे पर ईडी अपनी सीमाओं को लांघ रही है। ईडी उनके इशारे पर काम कर रही है। हमने विपक्ष में रहते जन सहयोग से कांग्रेस कार्यालय बनाया है। हम तो एक-एक पैसे का हिसाब दे देंगे। यदि ईडी में साहस है तो डेढ़ सौ करोड़ से बने कुशाभाऊ ठाकरे परिसर की जांच करके बताएं। उन्हें सम्मन दे, आरएसएस के पांच सौ करोड़ के दफ्तर के लिए लगी राशि का हिसाब पूछे। एकात्म परिसर की जमीन एक रुपये में लेकर वहां से हर महीने करोड़ों रुपये किराया वसूल रहे हैं। ईडी इसकी जांच का साहस दिखाएगी।