रायपुर. न्यूजअप इंडिया
लोकसभा चुनाव के बीच छत्तीसगढ़ में कांग्रेस को बड़ा झटका लगा है। कांग्रेस प्रवक्ता राधिका खेड़ा ने पार्टी की प्राथमिक सदस्यता से इस्तीफा दे दिया है। कुछ दिनों पहले ही उन्होंने पार्टी पर महिलाओं के अपमान का आरोप लगाया था। कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खरगे को सौंपे अपने इस्तीफे में कहा कि वह अयोध्या जाने से खुद को रोक नहीं पाई तो पार्टी में उनका विरोध होने लगा और जब उन्होंने इंसाफ मांगा तो उन्हें वो भी देने से इनकार कर दिया गया।
राधिका खेड़ा ने कहा कि उन्होंने बार-बार शीर्ष नेताओं को उनके अपमान के बारे में बताया, लेकिन इसके बावजूद उन्हें न्याय नहीं मिला। इसी बात से आहत होकर उन्होंने कांग्रेस छोड़ने का फैसला लिया है। उन्होंने अपने इस्तीफे में लिखा, मैंने जिस पार्टी को अपने 22 साल से ज्यादा दिए, जहां एनएसयूआई से लेकर एआईसीसी के मीडिया विभाग में पूरी ईमानदारी से काम किया, आज वहां विरोध का सामना मुझे करना पड़ा है। क्योंकि मैं अयोध्या में रामलला के दर्शन करने से खुद को रोक नहीं पाई। उन्होंने एजेंसी से बातचीत में कहा, कल प्रेस से बातचीत में बहुत कुछ खुलासा करूंगी।
प्रदेश कांग्रेस कार्यालय में हुआ था विवाद
बता दें राधिका खेड़ा के साथ प्रदेश प्रवक्ता सुशील आनंद शुक्ला की कांग्रेस प्रदेश कार्यालय में तीखी बहस हुई थी। इसके बाद से राधिका लगातार सोशल मीडिया के माध्यम से पूर्व मुख्यमंत्री भूपेश बघेल और सुशील आनंद शुक्ला पर आरोप लगाते हुए अपनी नाराजगी जता रही थीं। राधिका ने छत्तीसगढ़ कांग्रेस प्रवक्ता के व्यवहार की कांग्रेस आलाकमान से शिकायत की थी। इसके बाद हाईकमान के निर्देश पर प्रदेश कांग्रेस कमेटी ने जांच समिति का गठन किया था, जिसकी रिपोर्ट हाईकमान को भेज दी गई है। इधर कांग्रेस में अंतरकलह सामने आते ही BJP ने राष्ट्रीय स्तर पर कांग्रेस को महिला विरोधी बताते हुए निशाना साधा। राधिका खेड़ा के इस्तीफे के बाद छत्तीसगढ़ में सियासत और तेज हो गई है।