RAIPUR. न्यूजअप इंडिया
छत्तीसगढ़ में सत्ता परिवर्तन होने और भारतीय जनता पार्टी की सरकार बनने के बाद नया रायपुर में 218 करोड़ रुपये के विकास कार्यों को निरस्त कर दिया गया है। यह वर्क ऑर्डर पूर्व कैबिनेट मंत्री मोहम्मद अकबर के भाई की रायपुर कंस्ट्रक्शन कंपनी को मिला था। बीजेपी सरकार बनते ही इसकी जांच हुई, जिसमें काम गुणवत्ताहीन और विलंब होना पाया गया। अब इस पूरे मुद्दे को लेकर कांग्रेस और भाजपा के बीच वार-पलटवार का दौर शुरू हो गया है।
छत्तीसगढ़ में भाजपा की सरकार आने के बाद से कांग्रेस सरकार के दौरान हुए घोटाले, घपले और गड़बड़ियों की फाइल खुलना शुरू हो गया है। ताजा मामला पूर्व आवास एवं पर्यावरण मंत्री मोहम्मद अकबर के भाई की रायपुर कंस्ट्रक्शन कंपनी की है। उक्त कंपनी को कांग्रेस सरकार के दौरान नया रायपुर में 218 करोड़ रुपये का काम मिला था। भाजपा की सरकार आते ही इस पर जांच हुई, जिसके तहत यह पाया गया कि काम गुणवत्ताहीन और इसमें विलंब हो रहा है।
कंस्ट्रक्शन कंपनी को शह दिया जा रहा था
आवास एवं पर्यावरण मंत्री ओपी चौधरी ने कहा गुणवत्ता की शिकायतें आ रही थी। कांग्रेस सरकार के एक कद्दावर मंत्री के परिवार से जुड़े होने की वजह से ठेकेदार को शह किया जा रहा था। हमने गुणवत्ताविहीन काम करने वाले रायपुर कंस्ट्रक्शन को मिला ठेका रद्द कर दिया है। गहन अध्ययन किया गया था। बहुत पहले मुझ तक इसकी शिकायत आई थी। सात दिनों तक इस शिकायत का परीक्षण किया गया और फिर टेंडर रद्द करने का फ़ैसला किया गया है।
सरकार बदले की भावना से काम कर रही
मंत्री ओपी चौधरी ने कहा कि सीएम विष्णुदेव साय के नेतृत्व में हम गुड गवर्नेंस की नीति पर काम कर रहे हैं। कोई काम गलत तरीके से नहीं होगा। विलंब करेगा तो फिर चाहे कितना ही बड़ा व्यक्ति हो उसके खिलाफ हम कठोर कार्रवाई करेंगे। इधर कांग्रेस संचार प्रमुख सुशील आनंद शुक्ला ने कहा कि भाजपा सरकार बदले की भावना से काम कर रही है। अब देखना होगा पूर्व मंत्री के भाई की कंपनी का टेंडर निरस्त करने के बाद आगे और ऐसी कितने कंपनियों पर कार्रवाई भाजपा करती है। वहीं ऐसे कार्रवाईयों पर कांग्रेस का आगामी दिनों में स्टैंड क्या होगा?