रायपुर. न्यूजअप इंडिया
छत्तीसगढ़ के विधानसभा चुनाव में भारतीय जनता पार्टी की ऐतिहासिक जीत और कांग्रेस की हार के बाद उठा बवंडर शांत होने का नाम नहीं ले रहा है। बुधवार को कांग्रेस विधायक दल की बैठक से पहले ही फिर कांग्रेस के पूर्व विधायक का जवाब सुर्खियां में रहा। पीसीसी द्वारा जारी कि गए नोटिस का जवाब बृहस्पत सिंह ने दिया है, जिसमें उन्होंने न सिर्फ प्रदेश प्रभारी कुमारी कुमारी सैलजा पर आरोप लगाए, बल्कि टीएस सिंहदेव को इस हार के लिए जिम्मेदार ठहराया। उन्होंने कहा, सिंहदेव कांग्रेस के घोषणा पत्र के वादों को भी पूरा नहीं करने की बात कहते रहे, पीएम आवास को लेकर प्रदेश सरकार पर पैसा नहीं देने का बयान देते रहे, जिससे भाजपा के पक्ष में माहौल बना और कांग्रेस की हार हुई।
पीसीसी चीफ दीपक बैज के लिए लिखे लेटर में पूर्व विधायक बृहस्पत सिंह ने कहा, टीएस सिंहदेव के चार पन्नों की चिट्ठी और इस्तीफे से पार्टी को नुकसान हुआ है। वे लगातार पार्टी और सरकार के विरोध में बयान देते रहे। कुमारी सैलजा ने हाईकमान को इस बात की जानकारी नहीं दी, इसलिए पार्टी को चुनाव में नुकसान उठाना पड़ा। बृहस्पत ने कांग्रेस की हार का ठीकरा दोनों नेताओं पर फोड़ा था, जिसके बाद उन्हें प्रदेश कांग्रेस कमेटी ने नोटिस जारी किया था।
सरकार विरोधी बयानों से हुआ नुकसान
कांग्रेस ने भले ही अपने नेताओं को सार्वजनिक बयानबाजी और बड़े नेताओं पर टीका-टिप्पणी नहीं करने की हिदायत दी हो, लेकिन इस नसीहत का पूर्व विधायक बृहस्पत सिंह पर कोई असर पड़ता नहीं दिख रहा है। बृहस्पत सिंह लगातार छत्तीसगढ़ प्रभारी कुमारी सैलजा और पूर्व उप मुख्यमंत्री टीएस सिंहदेव पर हमलावर है। प्रदेश कांग्रेस के नोटिस का जवाब देते हुए कुमारी सैलजा और टीएस सिंहदेव पर प्रहार किया है। उन्होंने हार के लिए दोनों नेताओं जिम्मेदार बताया। उन्होंने कहा कि सिंहदेव के बयान के सरकार विरोधी बयानों से कांग्रेस को राजनीतिक नुकसान उठाना पड़ा।
प्रभारी ने हाईकमान को अंधेरे में रखा
पूर्व विधायक बृहस्पत ने कहा, टीएस सिंहदेव का इस्तीफा देना और फिर चार पन्नों का पत्र जारी करना पार्टी की हार का कारण बना। चुनाव में इससे बहुत नुकसान हुआ। सिंहदेव लगातार सरकार के खिलाफ बयान देते रहे, लेकिन इन चीजों की जानकारी कुमारी सैलजा ने हाईकमान को कभी नहीं दी। इन्ही वजहों से पार्टी की प्रदेश में हार हुई। बता दें बृहस्पत सिंह के इन्ही आरोपों के बीच बुधवार को कांग्रेस के विधायक दल की बैठक कांग्रेस महासचिव सप्तगिरी शंकर उल्का की मौजूदगी में हुई है। अब पार्टी इस पर क्या एक्शन लेगी यह आने वाले दिनों में पता चलेगा।