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Saturday, July 27, 2024

EOW की रिमांड में भेजी गईं पूर्व CM की सचिव सौम्या चौरसिया और IAS रानू साहू, अब कई बिंदुओं पर होगी पूछताछ

रायपुर. न्यूजअप इंडिया
छत्तीसगढ़ के बहुचर्चित कोयला घोटाला मामले में पूर्व IAS अधिकारी रानू साहू और सौम्या चौरसिया की मुश्किलें कम होने का नाम नहीं ले रही हैं। रायपुर की विशेष अदालत ने दोनों को चार दिन की हिरासत में भेज दिया है। सौम्या चौरसिया कांग्रेस की पिछली सरकार में मुख्यमंत्री कार्यालय में पूर्व उप सचिव थीं। कोर्ट ने सौम्या चौरसिया और रानू साहू को EOW की हिरासत में भेजा है। दोनों अधिकारियों को धन शोधन से जुड़े कथित कोयला शुल्क घोटाले के मामले में प्रवर्तन निदेशालय (ED) ने गिरफ्तार किया था।

वर्ष 2010 बैच के छत्तीसगढ़ कैडर के IAS अधिकारी रानू साहू को ईडी ने पिछले साल जुलाई में गिरफ्तार किया था। वहीं मुख्यमंत्री कार्यालय में तत्कालीन उप सचिव चौरसिया को दिसंबर 2022 में गिरफ्तार किया गया था। तभी से दोनों जेल में हैं। ACB-EOW के अधिवक्ता सौरभ पांडेय ने बताया कि साहू और चौरसिया को एसीबी/ईओडब्ल्यू ने गुरुवार को गिरफ्तार किया और अतिरिक्त जिला एवं सत्र न्यायाधीश (चतुर्थ) अतुल कुमार श्रीवास्तव की अदालत में पेश किया। बता दें कि पूर्व की भूपेश बघेल सरकार के दौरान सौम्या चौरसिया मुख्यमंत्री की उप सचिव थीं और वह बेहद पावरफुल पर्सन थीं।

पूछताछ के लिए EOW ने मांगी हिरासत
पांडेय ने बताया, EOW ने पांच जून तक उनकी हिरासत की मांग की थी, लेकिन अदालत ने 27 मई तक की हिरासत दिया है। ईओडब्ल्यू ने ईडी द्वारा साझा की गई जानकारी के आधार पर कथित कोयला शुल्क घोटाले में मामला दर्ज किया था। ईडी पिछले दो वर्षों से इस मामले में धन शोधन के पहलू की जांच कर रही है। पांडेय ने बताया कि ACB-EOW ने अपने मामले में अधिक जानकारी और सबूत इकट्ठा करने के लिए साहू और चौरसिया को गिरफ्तार किया और पूछताछ के लिए उनकी हिरासत मांगी थी।

प्रवर्तन निदेशालय ने इन्हें बनाया है आरोपी
बता दें कि छत्तीसगढ़ में प्रवर्तन निदेशालय (ED) ने 540 करोड़ रुपये के कथित कोयला घोटाले का खुलासा किया था। भ्रष्टाचार निवारण अधिनियम और भारतीय दंड संहिता की धाराओं के तहत दर्ज FIR में राज्य के ACB-EOW ने पूर्व मंत्री अमरजीत भगत, वर्तमान कांग्रेस विधायक देवेंद्र यादव, पूर्व विधायक यूडी मिंज, गुलाब कमरो, पूर्व विधायक चंद्रदेव प्रसाद राय, पूर्व विधायक शिशुपाल सोरी, पूर्व विधायक बृहस्पत सिंह, निलंबित आईएएस अधिकारी समीर बिश्नोई और पूर्व आईएएस रानू साहू तथा राज्य प्रशासनिक सेवा की अफसर सौम्या चौरसिया को आरोपी बनाया गया है।

ED ने कोल स्कैम में इन्हें बताया मास्टरमाइंड
FIR में कहा गया है कि वरिष्ठ नौकरशाहों, व्यापारियों, नेताओं और बिचौलियों से जुड़े एक कार्टेल द्वारा राज्य में परिवहन किए गए कोयले के लिए 25 रुपये प्रति टन के हिसाब से अवैध शुल्क की वसूली जा रही थी। व्यवसायी सूर्यकांत तिवारी इस घोटाले का मुख्य साजिशकर्ता था। ED ने कोयला शुल्क घोटाले की जांच शुरू की थी और 11 आरोपियों को गिरफ्तार किया था। ईडी ने 222 करोड़ की संपत्ति को अस्थायी रूप से कुर्क किया था। गिरोह में सूर्यकांत तिवारी और सौम्या चौरसिया, समीर विश्नोई जैसे राज्य सरकार के पदाधिकारी और राज्य खनन अधिकारी शामिल हैं। उगाही की गई राशि का उपयोग सूर्यकांत तिवारी और सौम्या चौरसिया के निर्देशानुसार किया गया था।

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